अन्याय के अहिंसक प्रतिरोध की गांधीवादी तकनीक ‘सत्याग्रह’ में शामिल नहीं है? (1) असहयोग (2) सविनय अवज्ञा (3) निष्क्रिय प्रतिरोध (4), हिजरत-स्थान छोड़ देना

सही उत्तर है…

(3) निष्क्रिय प्रतिरोध

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गांधीवादी ‘सत्याग्रह’ की अवधारणा में निष्क्रिय प्रतिरोध शामिल नहीं है। सत्याग्रह एक सक्रिय, अहिंसक प्रतिरोध का तरीका है जिसमें असहयोग, सविनय अवज्ञा, और हिजरत (स्थान छोड़ देना) जैसी तकनीकें शामिल हैं। असहयोग में अन्यायपूर्ण व्यवस्थाओं के साथ सहयोग न करना, सविनय अवज्ञा में अन्यायपूर्ण कानूनों का शांतिपूर्ण उल्लंघन, और हिजरत में अन्यायपूर्ण परिस्थितियों से स्वैच्छिक पलायन शामिल है।

सत्याग्रह का मूल सिद्धांत अहिंसा है, जिसमें सत्य पर अडिग रहना, आत्म-पीड़ा स्वीकार करना, और विरोधी के प्रति भी प्रेम और करुणा का भाव रखना शामिल है। गांधीजी ने इसे एक ऐसे सक्रिय प्रतिरोध के रूप में विकसित किया जो न केवल अन्याय का विरोध करता है, बल्कि विरोधी के हृदय परिवर्तन का भी प्रयास करता है। यह दृष्टिकोण निष्क्रिय प्रतिरोध से अलग है, क्योंकि यह अन्याय के खिलाफ सक्रिय रूप से खड़े होने और परिवर्तन लाने का प्रयास करता है।


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