जी नहीं, आज की तारीख में केक काटकर शिक्षक दिवस मनाया जाना उचित नहीं है।
केक काटकर शिक्षक दिवस मनाना उन्हें इज्ज़त देना नहीं कहलाता है। असली शिक्षक दिवस का अर्थ है, शिक्षक द्वारा बताए हुए रास्तों पर चलना, उनकी इज्ज़त करना, उनकी आज्ञा का पालन करना से होता है। यदि हमें शिक्षक को इज्जत देनी है तो हमें उनका दिल से सम्मान करना होगा। केक काटकर, उपहार देकर, इस तरह का दिखावा करके हम उन्हें बाहरी ख़ुशी नहीं देनी है। हमें अपने शिक्षक का दिल से सम्मान और हमेशा धन्यवाद करना है। शिक्षक हमारे मार्गदर्शक होते है। हमें अपने जीवन में शिक्षकों को हमेशा सम्मान देना चाहिए। शिक्षक हमारे जीवन में बहुत महत्व रखते हैं।
इसलिए केक काटने जैसी पश्चिमी संस्कृति न अपनाकर हमें भारतीय मूल्यों को अपनाना चाहिए और शिक्षकों को पूर्ण आदर सम्मान देकर उन्हें पुष्प गुच्छ आदि भेंट करके उनके चरण स्पर्श कर उनका आशीर्वाद प्राप्त करना चाहिए, यही हमारे संस्कारों के अनुकूल है।
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